सोलर पंप से हो रही भरपूर फसल तो मजदूरी के लिए गांव क्यों छोडना।
मध्यप्रदेश के बालाघाट जिले के अंधियारो बाई, नजरू और धनसिंह धुर्वे बहुत खुश हैं कि अब अपना घर-द्वार छोड़कर रोजगार के लिये उन्हे भटकना नहीं पड़ेगा। ऐसा इसलिए क्योंकि नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा विभाग ने बैगा किसानों के खेतों पर सोलर पंप Solar pump की स्थापना कर सिंचाई सुविधा उपलब्ध करवाई है। इससे बैगा जाति के लोग अब अपने गाँव में ही रुकना पसंद कर रहे हैं।
सोलर पंप से भरपूर फसल हो रही है।
बालाघाट से 106 किलोमीटर दूर सघन वन क्षेत्र में स्थित गाँव हीरापुर में अलग-अलग टोलों में बैगा जनजाति के लोग रहते हैं। यहाँ नजरू और उनकी पत्नी सुकवारो बाई सोलर पंप का गुणगान करते नहीं थकते। सुकवारो बाई कहती हैं कि पति की अनुपस्थिति में वह स्वयं सोलर पंप Solar pump का संचालन करती हैं। उनकी बाड़ी में लगभग एक साल पहले ऊर्जा विकास निगम ने केवल 3 हजार रूपये लेकर सोलर पंप लगाया था। पंप से अब बढ़िया सिंचाई हो रही है। पहले कुआँ होने के बावजूद ज्यादा उपज नहीं मिल पाती थी। बारिश से थोड़ी-बहुत उपज होती थी। बारिश भी भगवान भरोसे थी। अब धान और उन्हारी की भरपूर फसल ले रही हैं। गाँव पहुँचने वालों को सुकवारो बाई बहुत उत्साह से पंप चलाकर बताती हैं। वह अपने पंप और बाड़े की साफ-सफाई और सुरक्षा बड़े जतन से कर रही हैं।
अब गाँव छोड़कर मेहनत-मजदूरी करने बाहर जाना पड़ता
हीरापुर गाँव की ही अंधियारो बाई के खेत पर लगभग एक साल पहले ऊर्जा विकास निगम ने सोलर पंप लगाया था। उनके बेटे बिसरू सिंह ने बताया कि पहले कुआँ होने के बावजूद सिंचाई नहीं कर पाते थे। जीवन बसर करने के लिये गाँव छोड़कर मेहनत-मजदूरी करने बाहर जाना पड़ता था। अब तो हम सोलर पंप से भरपूर सिंचाई करके अपनी जमीन पर ही फसलें उगा रहे हैं, मजदूरी करने बाहर नहीं जाना पड़ता। बाहर गाँव रहने की अपनी दिक्कतें हैं। यह पूछने पर की कभी पंप बिगड़ा है क्या ? बिसरू ने बताया कि एक बार पंप बिगड़ गया था, तो उन्होंने सोलर पंप मशीन के ऊपर लिखे हुए फोन नम्बर पर सूचना दी और उनका पंप 15 दिन के अंदर सुधार दिया गया।
आय बढ़ने से परिवार में भी खुशी का माहौल है।
ग्राम लिमोटी के बैगा धनसिंह धुर्वे सोलर पंप का इस्तेमाल करके गाँव वालों के लिये एक प्रेरणा स्त्रोत बन गये हैं। इनके गाँव में 10 पंप और लग गये हैं, जिनकी संख्या लगातार बढ़ रही है। धनसिंह के खेत पर ऊर्जा विकास निगम द्वारा वर्ष 2018-19 में सोलर पंप लगाया गया था। भरपूर पानी मिलने से उनकी वर्षा पर निर्भरता खत्म हो गयी है। सिंचाई सुविधा मिलने से धनसिंह धान, गेहूँ, चना, कोदो-कुटकी की फसल ले रहे हैं। धनसिंह कहते हैं अब रोजगार के लिये बाहर नहीं जाना पड़ता, आय बढ़ने से परिवार में भी खुशी का माहौल है।